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पीएम विश्वकर्मा योजना लोन कैसे ले? कैसे प्राप्त करें आसानी से लोन और बदलें अपना व्यवसाय

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पीएम विश्वकर्मा योजना लोन कैसे ले? कैसे प्राप्त करें आसानी से लोन और बदलें अपना व्यवसाय

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पीएम विश्वकर्मा योजना लोन कैसे ले

पीएम  विश्वकर्मा योजना के तहत लोन प्राप्त करने के लिए आपको सबसे पहले योजना के लिए पात्र होना आवश्यक है। इसके लिए आपको एक पारंपरिक कारीगर या शिल्पकार होना चाहिए, जैसे कि बढ़ई, लोहार, कुम्हार, आदि। लोन प्राप्त करने के लिए आपको योजना की आधिकारिक वेबसाइट पर जाकर रजिस्ट्रेशन करना होगा। रजिस्ट्रेशन के दौरान आवश्यक दस्तावेज़ (आधार कार्ड, बैंक खाता विवरण, पहचान प्रमाण, आदि) अपलोड करें। रजिस्ट्रेशन के बाद, आपको कौशल विकास प्रशिक्षण दिया जाएगा और इसके बाद आप कम ब्याज दर पर लोन के लिए पात्र हो जाएंगे। योजना के तहत आपको पहले चरण में 1 लाख रुपये तक का लोन मिल सकता है और समय पर चुकौती के बाद 2 लाख रुपये तक का अतिरिक्त लोन भी मिल सकता है।

पीएम विश्वकर्मा योजना लोन कैसे ले

पीएम विश्वकर्मा योजना लोन कैसे ले?

पीएम विश्वकर्मा योजना (PM Vishwakarma Yojana) का उद्देश्य पारंपरिक कारीगरों और शिल्पकारों को सशक्त बनाना है ताकि वे अपने कौशल का उपयोग करके अपने व्यवसाय को बढ़ा सकें और रोजगार के नए अवसर उत्पन्न कर सकें। इस योजना के तहत, कारीगरों को उनके व्यवसाय के विस्तार के लिए ऋण प्रदान किया जाता है। यहां बताया गया है कि पीएम विश्वकर्मा योजना के तहत ऋण कैसे प्राप्त किया जा सकता है:

पीएम विश्वकर्मा योजना लोन कैसे ले :

पीएम विश्वकर्मा योजना (PM Vishwakarma Yojana) भारत सरकार की एक योजना है जो पारंपरिक कारीगरों और शिल्पकारों को आर्थिक सहायता प्रदान करती है. इस योजना के तहत, सरकार कारीगरों और शिल्पकारों को टूल किट और अन्य उपकरणों के लिए लोन प्रदान करती है.

पीएम विश्वकर्मा योजना लोन कैसे ले इस योजना के तहत , कारीगरों और शिल्पकारों को 10,000 रुपए से 1,00,000 रुपए तक का ऋण मिल सकता है जोकि ऋण की राशि शिल्पकार या कारीगर के व्यवसाय के आकार तथा आवश्यकता पर निर्भर करता है ।प्रधानमंत्री विश्वकर्मा योजना (जिसे पीएम विश्वकर्मा कौशल सम्मान के रूप में भी जाना जाता है) इस योजना के तहत 4 साल की अवधि के लिए दस हजार से एक लाख तक का लोन बिना किसी कोलेट्रल के ( बिना किसी गिरवी समान रख कर ) प्रदान किया जाता है । जिसकी ब्याज की दर 5% प्रति वर्ष है

 

पीएम विश्वकर्मा योजना (PM Vishwakarma Yojana) भारत सरकार द्वारा 2023 में लॉन्च की गई एक योजना है, जिसका उद्देश्य पारंपरिक कारीगरों और शिल्पकारों को वित्तीय और कौशल संबंधी सहायता प्रदान करना है। इस योजना के तहत कारीगरों को वित्तीय मदद, कौशल विकास, और बाजार तक पहुँच प्रदान की जाती है।

अधिक जानकारी के लिए, आधिकारिक वेबसाइट पर जाएं या संबंधित अधिकारियों से संपर्क करें।

पीएम विश्वकर्मा योजना के तहत पात्रता की शर्तें:

  1. पारंपरिक कारीगर और शिल्पकार:
    इस योजना का लाभ केवल उन लोगों को मिलेगा जो पारंपरिक कारीगरी और शिल्पकारी जैसे कार्यों में संलग्न हैं, जैसे कि लोहार, दर्जी, सुनार, बढ़ई, कुम्हार, मोची आदि।
  2. आधार कार्ड और पहचान प्रमाण:
    आवेदन करने वाले व्यक्ति के पास आधार कार्ड होना आवश्यक है। इसके साथ ही पहचान और पते का प्रमाण भी आवश्यक है।
  3. आयु सीमा:
    लाभार्थी की आयु 18 से 50 वर्ष के बीच होनी चाहिए।
  4. कार्य प्रमाण:
    पारंपरिक कारीगर और शिल्पकार के रूप में काम करने का प्रमाण आवश्यक होगा। इससे यह सुनिश्चित किया जा सके कि व्यक्ति सचमुच उस व्यवसाय में संलग्न है।
  5. बैंक खाता:
    आवेदक के पास एक सक्रिय बैंक खाता होना चाहिए, ताकि सरकार द्वारा दी जाने वाली सहायता सीधे बैंक खाते में ट्रांसफर की जा सके।
  6. कौशल विकास प्रशिक्षण:
    इस योजना के तहत आवेदकों को कौशल प्रशिक्षण भी दिया जाएगा, और इसका हिस्सा बनने के लिए उन्हें निर्धारित प्रशिक्षण कार्यक्रम में शामिल होना पड़ सकता है।
  7. आय प्रमाणपत्र (यदि लागू हो):
    कुछ मामलों में आय सीमा भी हो सकती है, जो यह तय करेगी कि व्यक्ति इस योजना के लिए पात्र है या नहीं।

मुख्य लाभ:

  1. ब्याज रहित या कम ब्याज पर ऋण सुविधा।
  2. कौशल प्रशिक्षण और प्रमाणपत्र।
  3. ब्रांडिंग और मार्केटिंग के लिए समर्थन।
  4. ये शर्तें समय-समय पर सरकार द्वारा बदली जा सकती हैं, इसलिए योजना के आधिकारिक दस्तावेज़ों या संबंधित सरकारी वेबसाइट पर अद्यतन जानकारी अवश्य जांच लें।

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पीएम विश्वकर्मा योजना के अंतर्गत आने वाले व्यापार

पीएम विश्वकर्मा योजना के अंतर्गत पारंपरिक कारीगर और शिल्पकार, जो हस्तशिल्प और छोटे व्यवसायों से जुड़े हुए हैं, शामिल होते हैं। ये वे व्यवसाय हैं जिन्हें विशेष प्रकार के कौशल की आवश्यकता होती है, जो प्राचीन काल से पीढ़ी दर पीढ़ी चल रहे हैं। इस योजना के तहत निम्नलिखित प्रमुख व्यवसायों को शामिल किया गया है:

  1. बढ़ई (Carpenter)
    लकड़ी के फर्नीचर, दरवाजे, खिड़कियाँ आदि बनाने का कार्य।
  2. लोहार (Blacksmith)
    लोहे के औजार, कृषि उपकरण, और धातु की अन्य वस्तुओं का निर्माण।
  3. सुनार (Goldsmith)
    सोने, चांदी और अन्य धातुओं के आभूषण बनाने का कार्य।
  4. मोची (Cobbler)
    जूतों की मरम्मत और नए जूते बनाने का कार्य।
  5. कुम्हार (Potter)
    मिट्टी के बर्तन, मूर्तियाँ, और अन्य मिट्टी से बनी वस्तुओं का निर्माण।
  6. हाथ से सूत कताई और बुनाई करने वाले (Handloom Weavers)
    हाथ से वस्त्रों का निर्माण जैसे कि साड़ियाँ, दुपट्टे, कपड़े आदि।
  7. राजमिस्त्री (Mason)
    निर्माण कार्य में ईंट लगाने, दीवार बनाने, और अन्य निर्माण संबंधित कार्यों में विशेषज्ञता।
  8. हाथ से कपड़ा रंगाई करने वाले (Handloom Dyers)
    कपड़ों को प्राकृतिक और अन्य रंगों से रंगने का कार्य।
  9. नाई (Barber)
    बाल काटने, शेविंग, और अन्य सौंदर्य सेवाओं का कार्य।
  10. टोकरी, चटाई और झाड़ू बनाने वाले (Basket Weavers and Broom Makers)
    बांस, ताड़, और अन्य प्राकृतिक सामग्री से टोकरी, चटाई और झाड़ू बनाने का कार्य।
  11. पत्थर तराशने वाले (Stone Carvers)
    पत्थरों पर नक्काशी और मूर्तियाँ बनाने का कार्य।
  12. जुलाहा (Handloom Weaver)
    हाथ से बुनाई करके कपड़े और वस्त्र तैयार करने वाले कारीगर।
  13. मूर्तिकार (Sculptor)
    मिट्टी, पत्थर, लकड़ी आदि से मूर्तियों का निर्माण।
  14. चर्मकार (Leather Worker)
    चमड़े से बनी वस्तुओं का निर्माण जैसे जूते, बेल्ट, बैग आदि।
  15. साइकिल मरम्मत करने वाले (Cycle Repairers)
    साइकिलों की मरम्मत और रखरखाव का कार्य।
  16. हथकरघा कार्यकर्ता (Handloom Workers)
    कपड़ा उत्पादन और वस्त्र निर्माण में संलग्न।
  17. धोबी (Washerman)
    कपड़े धोने, प्रेस करने और मरम्मत करने का कार्य।

ये सभी व्यवसाय कारीगरी के पारंपरिक रूप हैं, जिन्हें बढ़ावा देने के लिए यह योजना बनाई गई है।

कैसे करें अप्लाई?

पीएम विश्वकर्मा योजना (PM Vishwakarma Yojana) के तहत रजिस्ट्रेशन प्रक्रिया कारीगरों और शिल्पकारों को सीधे लाभ देने के लिए डिज़ाइन की गई है। यह प्रक्रिया ऑनलाइन और ऑफलाइन दोनों तरीकों से की जा सकती है। यहाँ पर रजिस्ट्रेशन की चरणबद्ध प्रक्रिया दी जा रही है:

पीएम विश्वकर्मा योजना: 13 आसान चरणों में लोन कैसे प्राप्त करें और अपना व्यवसाय बढ़ाएँ

  1. ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन प्रक्रिया:
    आधिकारिक वेबसाइट पर जाएं: pmvishwakarma.gov.in
  2. सबसे पहले, पीएम विश्वकर्मा योजना की आधिकारिक वेबसाइट पर जाएं। यह वेबसाइट भारत सरकार द्वारा प्रदान की जाती है।
    रजिस्ट्रेशन लिंक चुनें:
  3. होम पेज पर “रजिस्टर” या “आवेदन करें” लिंक पर क्लिक करें। यह लिंक आपको रजिस्ट्रेशन फॉर्म तक पहुंचाएगा।
    आवश्यक जानकारी भरें:
  4. फॉर्म में मांगी गई सभी जानकारी भरें, जैसे कि नाम, पता, आधार कार्ड नंबर, व्यवसाय का प्रकार, और अन्य व्यक्तिगत जानकारी।
    व्यवसाय का प्रमाण, जैसे कि कारीगर के रूप में काम करने का प्रमाण पत्र या उससे संबंधित दस्तावेज़ भी अपलोड करना पड़ सकता है।
    बैंक विवरण दर्ज करें:
  5. अपने बैंक खाते का विवरण दर्ज करें ताकि योजना के तहत मिलने वाले लाभ सीधे आपके खाते में ट्रांसफर किए जा सकें।
    आधार प्रमाणीकरण:
  6. आधार कार्ड से जुड़ी जानकारी को सत्यापित करने के लिए OTP (वन टाइम पासवर्ड) के माध्यम से प्रमाणीकरण करना होगा।
    फॉर्म सबमिट करें:
  7. सभी जानकारी भरने और दस्तावेज अपलोड करने के बाद, फॉर्म को सबमिट करें। आपको एक आवेदन संख्या या संदर्भ आईडी दी जाएगी जिसे आप भविष्य में अपनी आवेदन स्थिति की जांच करने के लिए उपयोग कर सकते हैं।
    स्थिति की जांच:
  8. सबमिट किए गए फॉर्म के बाद, आप वेबसाइट पर जाकर अपने आवेदन की स्थिति की जांच कर सकते हैं।
    ऑफलाइन रजिस्ट्रेशन प्रक्रिया:
    निकटतम कॉमन सर्विस सेंटर (CSC) जाएं:
  9. अपने नजदीकी कॉमन सर्विस सेंटर (CSC) पर जाएं। ये केंद्र विभिन्न सरकारी योजनाओं के लिए आवेदन करने में मदद करते हैं।
    फॉर्म प्राप्त करें और भरें:
  10. CSC पर उपलब्ध आवेदन फॉर्म प्राप्त करें और आवश्यक जानकारी भरें।
    दस्तावेज़ जमा करें:
  11. आवेदन के साथ आवश्यक दस्तावेज़, जैसे कि आधार कार्ड, बैंक खाता विवरण, व्यवसाय प्रमाण, और फोटो जमा करें।
    सत्यापन:
  12. अधिकारी आपके द्वारा जमा किए गए दस्तावेज़ों और जानकारी का सत्यापन करेंगे।
    संदर्भ आईडी प्राप्त करें:
  13. सफलतापूर्वक आवेदन करने के बाद आपको एक संदर्भ आईडी मिलेगी, जिससे आप अपनी आवेदन की स्थिति बाद में जांच सकते हैं।
    स्थिति की जांच:

CSC के माध्यम से भी आप अपनी आवेदन की स्थिति जांच सकते हैं।

आवश्यक दस्तावेज़:

  1. आधार कार्ड (Aadhaar Card)
  2. व्यवसाय का प्रमाण (Trade Certificate)
  3. पासपोर्ट साइज फोटो
  4. बैंक खाता विवरण
  5. मोबाइल नंबर
  6. जाति प्रमाण पत्र (यदि लागू हो)
  7. रजिस्ट्रेशन के बाद:
  8. रजिस्ट्रेशन प्रक्रिया पूरी होने के बाद, सरकार द्वारा आपके दस्तावेज़ों का सत्यापन किया जाएगा। सत्यापन के बाद आपको योजना के अंतर्गत लाभ मिलना शुरू हो जाएगा, जैसे कि ब्याज रहित ऋण, कौशल विकास प्रशिक्षण, और अन्य सहायता।

यह सुनिश्चित करें कि आपने सही जानकारी और प्रमाणपत्र प्रदान किए हैं, ताकि आपका आवेदन शीघ्रता से स्वीकार हो सके।

पीएम विश्वकर्मा योजना (PM Vishwakarma Yojana) के बारे में अक्सर पूछे जाने वाले कुछ महत्वपूर्ण प्रश्न (FAQs) और उनके उत्तर निम्नलिखित हैं:

1पीएम विश्वकर्मा योजना क्या है?
उत्तर: प्रधानमंत्री विश्वकर्मा योजना का उद्देश्य पारंपरिक कारीगरों और शिल्पकारों को वित्तीय सहायता, कौशल प्रशिक्षण और बाज़ार तक पहुँच उपलब्ध कराना है। इसके माध्यम से कारीगरों को उनकी आजीविका के लिए आवश्यक उपकरण, ऋण सुविधा और मार्केटिंग का समर्थन दिया जाता है।

2. कौन लोग इस योजना के लिए पात्र हैं?
उत्तर: इस योजना के तहत पारंपरिक कारीगर और शिल्पकार जैसे बढ़ई, लोहार, सुनार, मोची, कुम्हार, राजमिस्त्री, बुनकर आदि पात्र हैं। पात्रता के लिए आवेदक का संबंधित व्यवसाय में कार्यरत होना आवश्यक है।

3. क्या इस योजना के लिए कोई आय सीमा है?
उत्तर: आय सीमा का कोई स्पष्ट निर्देश नहीं है, लेकिन यह योजना विशेष रूप से छोटे और मध्यम वर्गीय पारंपरिक कारीगरों और शिल्पकारों के लिए बनाई गई है।

4. इस योजना के तहत क्या लाभ मिलते हैं?

उत्तर:

  1.  कम ब्याज दर पर ऋण सुविधा।
  2. कौशल विकास प्रशिक्षण।
  3. मार्केटिंग और ब्रांडिंग में सहायता।
  4. उपकरणों की खरीद के लिए वित्तीय सहायता।
  5. कारीगरों को प्रमाण पत्र और अन्य वित्तीय लाभ।

5. पीएम विश्वकर्मा योजना के तहत आवेदन कैसे करें?
उत्तर: इस योजना के लिए आवेदन ऑनलाइन माध्यम से किया जा सकता है। आवेदक को योजना की आधिकारिक वेबसाइट पर जाकर फॉर्म भरना होगा और आवश्यक दस्तावेज़ जमा करने होंगे। आवेदन की प्रक्रिया और समय सीमा के बारे में जानकारी आधिकारिक वेबसाइट पर उपलब्ध होती है।

6. इस योजना के तहत कितना ऋण मिल सकता है?
उत्तर: प्रधानमंत्री विश्वकर्मा योजना के तहत कारीगरों को 1 लाख रुपये तक का प्रारंभिक ऋण और बाद में 2 लाख रुपये तक का अतिरिक्त ऋण मिल सकता है। इस पर ब्याज दर सामान्य से कम होती है।

7. आवेदन करने के लिए किन दस्तावेज़ों की आवश्यकता होती है?
उत्तर: आवश्यक दस्तावेज़ों में आधार कार्ड, पहचान प्रमाण, पते का प्रमाण, बैंक खाता विवरण और व्यवसाय का प्रमाण शामिल होते हैं।

8. कौशल प्रशिक्षण कैसे मिलेगा?
उत्तर: योजना के अंतर्गत कारीगरों और शिल्पकारों को उनके पारंपरिक कौशल को और बेहतर बनाने के लिए प्रशिक्षण प्रदान किया जाएगा। यह प्रशिक्षण सरकार द्वारा अधिकृत प्रशिक्षण केंद्रों में दिया जाएगा।

9. क्या इस योजना में किसी शुल्क का भुगतान करना होता है?
उत्तर: इस योजना के तहत रजिस्ट्रेशन या आवेदन प्रक्रिया में कोई शुल्क नहीं लिया जाता है। यह योजना पूरी तरह से सरकार द्वारा वित्त पोषित है।

10. योजना के लिए आवेदन करने के बाद कितना समय लगेगा?
उत्तर: आवेदन प्रक्रिया पूरी करने के बाद, आवेदक को योजना के लाभ प्राप्त करने के लिए कुछ सप्ताह का समय लग सकता है। कौशल प्रशिक्षण और ऋण सुविधा प्राप्त करने की प्रक्रिया योजना के नियमों के अनुसार होगी।

11. क्या इस योजना का लाभ केवल पुरुषों को मिलता है?
उत्तर: नहीं, यह योजना पुरुषों और महिलाओं दोनों के लिए है, जो पारंपरिक कारीगरी और शिल्पकारी में संलग्न हैं।

12. मैं कैसे जान सकता हूँ कि मेरा आवेदन स्वीकार किया गया है?
उत्तर: आवेदन के बाद, आपको एक पावती संख्या या ईमेल प्राप्त होगा। इसके माध्यम से आप आवेदन की स्थिति को ट्रैक कर सकते हैं। योजना के तहत सभी प्रक्रियाएं ऑनलाइन और पारदर्शी हैं।

13. योजना की आधिकारिक वेबसाइट कौन सी है?
उत्तर: योजना की आधिकारिक वेबसाइट सरकार द्वारा लॉन्च की जाती है, जो संबंधित मंत्रालय या विभाग की वेबसाइट के रूप में होती है। आप नवीनतम जानकारी के लिए आधिकारिक सरकारी पोर्टल पर जा सकते हैं।

14. क्या इस योजना का लाभ शहरी और ग्रामीण दोनों क्षेत्रों में मिलता है?
उत्तर: हां, प्रधानमंत्री विश्वकर्मा योजना का लाभ शहरी और ग्रामीण दोनों क्षेत्रों में उपलब्ध है। इसका उद्देश्य सभी पारंपरिक कारीगरों और शिल्पकारों को सहायता प्रदान करना है।

 

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